धीरे-धीरे करें दौड़ने की शुरूआत नहीं तो हो सकती है कई परेशानियां
आप काफी लंबे समय के बाद फिटनेस की चाहत में दौडऩे की शुरुआत करने की योजना बना रहे हैं, तो किसी और से तुलना न करें और छोटे-छोटे कदमों से शुरुआत करें। यह कहना है एक विशेषज्ञ का।
एडीडास के दौड़ विशेषज्ञ रजत चौहान दे रहे हैं दौड़ की शुरुआत के लिए कुछ टिप्स :
-आप अपने जीवन के किसी मोड़ पर कितने फिट थे यह न सोचें और न ही अपने इर्द-गिर्द मौजूद किसी अन्य व्यक्ति से अपनी तुलना करें। धीमी शुरुआत करें और एक मजबूत आधार बनाएं, ताकि आप चोटिल न हों।
-शुरुआती कुछ महीनों में गति और दूरी की चिंता न करें।
-बारी-बारी से एक से पांच मिनट धीमी सैर और एक से पांच मिनट तेज सैर से शुरुआत करें। तीन से छह बार इसे दोहराएं। पहले एक या दो सप्ताह इस पर टिके रहें।
-एक बार आप पांच से दस मिनट की तेज सैर के अभ्यस्त हो जाएं, उसके बाद आप जॉगिंग की शुरुआत कर सकते हैं। उसके बाद बारी-बारी से एक से पांच मिनट की तेज सैर और एक से पांच मिनट की जॉगिंग करें। इसे तीन से छह बार दोहराएं।
-अपनी दौड़ को अधिक प्रभावशाली बनाने के लिए स्ट्रेंथ ट्रेनिंग करें। बॉडी वेट्स या मशीनों का प्रयोग करके आप घर या जिम में स्ट्रेंथ ट्रेनिंग कर सकते हैं।
-अपने कंधों को रिलेक्स करने और एक ही जगह पर जॉगिंग करने से शुरुआत करें। अपने दोनों हाथों के अंगूठे और तर्जनी उंगली के बीच एक पापड़ रखे होने की कल्पना करें। आपको ये पापड़ तोडऩा नहीं है, इसलिए आपको इसे कोमलता से पकडऩा होगा यानी कि अपने कंधों और शरीर के ऊपरी हिस्से को रिलैक्स रखना होगा।
-आप चाहे सैर करें या दौड़ें, आपको अपनी सांसों को काबू में करना होगा। जब आप सैर की शुरुआत करें, सांस को काबू में करने का अभ्यास करें। इसके लिए लंबी सांस भरें, एक या दो सेकेंड रोकें और फिर सांस छोड़ें। अभ्यास के बाद यह बेहद सहज हो जाएगा, चाहे आप बेहद तेज गति पर ही क्यों न दौड़ रहे हों।
-दौड़ते समय केवल आपने कदमों की आवाज सुनें। अगर आप उन्हें सुन पा रहे हैं तो इसका अर्थ है कि आप बेहद जोर डाल रहे हैं, अपने पैरों का प्रयोग कोमलता से करें।
-आरंभ में आपका शरीर ही आपको रुकने का संकेत दे देगा, क्योंकि शुरुआत में थोड़ी तकलीफ होगी। पहले तीन से चार सप्ताह ऊपर दी गई सलाह का ही पालन करें, लेकिन अगर कुछ दिन दर्द कायम रहें तो चिकित्सकीय सलाह लें।
-दौड़ की शुरुआत के समय अपनी जरूरत के मुताबिक अच्छे और उपयुक्त जूतों का प्रयोग करें।
-हर दस से पंद्रह मिनट में एक या दो घूंट पानी पिएं, इससे अधिक नहीं। बेहतर है कि सादे पानी की जगह इलेक्ट्रॉलाइट मिलाकर पानी पिएं। खाने के तत्काल बाद कभी न दौड़ें। जरूरी है कि दौडऩे के बाद, अगले 20 से 30 मिनट के भीतर कुछ प्रोटीन लें।